Live-news: इरफान खान के जीवन की कुछ विशेष बाते
इरफान खान का जन्म राजस्थान के जयपुर के पास टोंक जिले में एक मुस्लिम परिवार में हुआ था। लेकिन उनके पिता हमेशा कहते कि हमारे घर एक ब्राह्मण का जन्म हुआ है क्यों कि इरफान खान कभी नॉनवेज नहीं खाते थे।इरफान खान की पत्नी का नाम सतुपा है, इरफान और उनकी पत्नी सुतापा की लव स्टोरी दिल्ली के नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा के दौरान शुरू हुई थी। बताया जाता है कि वे सुतापा से शादी करने के लिए वे हिंदू धर्म अपनाने के लिए तैयार थे। लेकिन इसकी जरूरत नहीं पड़ी। सुतापा के परिवार ने उन्हें वैसे ही अपना लिया।
इरफान खान ने अपने कैरियर कि शुरुवात छोटे पर्दे से की। अपने शुरुवाती दिनों में इन्होंने चाणक्य, भारत एक खोज, चंद्रकांता जैसे धारावाहिकों में आम किया उन्ह उन्होंने अपने फिल्मी करियर की शुरुवात सलाम बॉम्बे फिल्म में एक छोटे रोल से की।
उन्हे असली पहचान मकबूल, रोग, लाइफ इन मेट्रो, स्लमडॉग मिलेनयर, पान साई तोमर, द लंचबॉक्स जसी फिल्मों से मिली।
उन्हे अपने अभिनय के लिए कई अवॉर्ड से नवाजा गया।
सात जनवरी 2016 को इरफान खान 49 वर्ष के हो गए। अपने करियर में उन्होंने कई यादगार फिल्में दी। अदाकारी तो उनकी हर फिल्म में देखने लायक होती है। आइए बात करते हैं इरफान की उन भूमिकाओं की जिनके लिए इरफान ने अपना लुक बदला ताकि उनका रोल ज्यादा रियल लगे।
Live-news: फिल्मों के लिए इरफान खान को हमेशा याद किया जाएगा।
द वॉरियरइस ब्रिटिश-इंडियन फिल्म में इरफान खान ने एक योद्धा की भूमिका निभाई। उन्होंने अपने बालों को लंबा किया। योद्धा का चेहरा सख्त होना चाहिए, वैसे भाव उन्होंने अपने चेहरे पर रखे और पूरी फिल्म में वे योद्धा के आउटफिट में नजर आएं ।
पान सिंह तोमर
इस बायोपिक में इरफान ऐसे एथलीट की भूमिका में नजर आए जो बात में डाकू बन जाता है। फिल्म के पहले हाफ में एथलीट की तरह इरफान दुबले-पतले नजर आएं। दूसरे हाफ में वे खाकी आउटफिट में दिखाई दिए जो हथियारों रखता है और डाकू बन जाता है।
द लंच बॉक्स
एक रिटायर और विधुर व्यक्ति के रोल में थे इरफान खान। अपनी उम्र से ज्यादा का दिखना था। बालों का लुक उन्होंने ऐसा किया जिससे वे उम्रदराज नजर आएं। बॉडी लैंग्वेज में भी उन्होंने इस बात का ध्यान रखा। कहना नहीं होगा कि फिल्म में उनका अभिनय लाजवाब है।
Live-news: इरफान खान की अंतिम इच्छा
इरफान खान अपनी पत्नी सुतापा से बहुत प्यार करते थे और सुतपा ने उनका साथ हर मुश्किल घड़ी में दिया था। जब इरफान खान कैंसर जैसी बीमारी से अंतिम लड़ाई लड़ रहे थे तो भी सूतापा हमेशा उनके साथ थी। इसलिए इरफान दोबारा अपनी पत्नी के लिए जीना चाहते थे।इरफान खान की मौत से चार दिन पहले इन की मा का देहांत हुआ था जिसमें इरफान शामिल नहीं हो पाए।
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